राजस्थान के यह पांच सबसे ऊंचे किले जिन्हें आपको जरूर देखना चाहिए, जानें डिटेल…
*चित्तौड़गढ़ किला:* राजस्थान में स्थित चित्तौड़गढ़ किले को राजपूताना गौरव का बेहतरीन उदाहरण कहा जाता है। किले की वास्तुकला पर्यटकों को बहुत आकर्षित करती है। 590 फीट की ऊंचाई पर स्थित चित्तौड़गढ़ किला कुल 692 एकड़ में फैला हुआ है।
वहीं, 2013 में इस किले को यूनेस्को वर्ल्ड हेरिटेज साइट का दर्जा भी मिल चुका है। किले में मौजूद मीरा मंदिर, विजय स्तंभ और कीर्ति स्तंभ यहां के सबसे अच्छे आकर्षण माने जाते हैं।
जैसलमेर का किला:
राजस्थान में स्थित जैसलमेर के किले को यूनेस्को की विश्व विरासत स्थल का दर्जा भी प्राप्त है। 1156 में बना यह किला 250 फीट की ऊंचाई पर स्थित है। वहीं, जैसलमेर का किला दुनिया के सबसे बड़े किलों में गिना जाता है। सोनार किला या गोल्डन फोर्ट के नाम से मशहूर इस किले से जैसलमेर शहर ही नहीं बल्कि थार के रेगिस्तान को भी आसानी से देखा जा सकता है।
कुम्भलगढ़ किला:
चित्तौड़गढ़ किले के बाद कुम्भलगढ़ किले को मेवाड़ का दूसरा सबसे महत्वपूर्ण किला माना जाता है। अरावली पर्वत पर स्थित कुम्भलगढ़ किला उदयपुर से लगभग 82 किलोमीटर की दूरी पर है। इस किले का नाम यूनेस्को वर्ल्ड हेरिटेज साइट्स में भी शामिल है। वहीं कुम्भलगढ़ किले को महाराणा प्रताप की जन्मस्थली भी कहा जाता है।
आमेर का किला:
राजस्थान की राजधानी जयपुर में स्थित आमेर का किला शहर के लोकप्रिय पर्यटन स्थलों में गिना जाता है। जयपुर से आमेर किले की दूरी मात्र 11 किलोमीटर है। वहीं किले की वास्तुकला पर्यटकों को बेहद पसंद आती है। आमेर किले को यूनेस्को वर्ल्ड हेरिटेज साइट का दर्जा भी मिल चुका है। इस किले में रोजाना 5 हजार से ज्यादा पर्यटक आते हैं।
रणथंभौर का किला:
राजस्थान के खूबसूरत किलों में रणथंभौर किले का नाम भी शामिल है। रणथंभौर किले के पास नेशनल पार्क और टाइगर रिजर्व भी मौजूद है। वहीं यूनेस्को की विश्व धरोहर स्थलों में शामिल इस किले में आप भव्य दरवाजे, महल, गुंबद और मंदिर भी देख सकते हैं।